वैदिक ज्योतिष में ग्रहण महत्वपूर्ण माना गया है. जिस नक्षत्र में ग्रहण लगता है उसमे 6 महीने तक शुभ कार्य नहीं किया जाता. यदि यह जन्म नक्षत्र ही हो तो ग्रहण योग से 6 महीने तक जातक उसके खराब प्रभाव में रह सकता है. इस बार चन्द्र ग्रहण कन्या राशि के हस्त नक्षत्र के प्रथम चरण में होगा. जिस भाव में यह ग्रहण लगेगा उस भाव के कारकों को छह महीने तक प्रभावित करेगा. ग्रहों के गोचर का प्रभाव सभी राशियों के जातकों पर पड़ता है. यह साल 2024 का पहला चंद्र ग्रहण है जो फाल्गुन महीने में होली पर लगने जा रहा है. इस तरह के होली पर चंद्र ग्रहण होने से राहु का साया रहेगा. चन्द्रमा से सम्बन्धित कारको पर इसका प्रभाव 6 महीने तक रह सकता है. वैदिक पंचांग के अनुसार इस साल होली 25 मार्च को है इस दिन चंद्र ग्रहण सुबह 10 बजकर 23 मिनट से शुरू होकर दोपहर 03 बजकर 2 मिनट तक रहेगा. यह भारत में एक आंशिक या पूर्ण के बजाय यह एक उपछाया ग्रहण होगा इसलिए इसका आंशिक प्रभाव होगा. चंद्र ग्रहण का प्रभाव वैसे तो सभी राशियों के जातकों पर पड़ेगा लेकिन कुछ राशियां ऐसी होंगी जिनके लिए परेशानियों का सबब हो सकता है.
मेष राशि
होली के दिन पड़ने वाले चंद्र ग्रहण का अशुभ असर मेष राशि के जातकों के ऊपर पड़ सकता है. इस राशि के लोगों को रोग, भय, दुश्मन से पीड़ा, और हानि की सम्भावना है. इन जातकों को मानसिक स्तर पर परेशानियाँ बढ़ सकती है, पुत्री को कष्ट और माता के लिए कष्टप्रद हो सकती है. विदेश यात्रा हो सकती है और वहां इन्हें कष्ट की प्राप्ति हो सकती है. इस समय राजनीति के क्षेत्र में कार्यरत जातको को लीगल इशुज में उलझना पड़ सकता है और जेल की हवा खानी पड़ सकती है. बड़े धन से सम्बन्धित मामले में खुलासा हो सकता है यदपि कि कुछ को लाभ भी मिल सकता है. बैकिंग क्षेत्रो में कार्यरत जातक लाभान्वित हो सकते हैं.
तुला राशि
धनु राशि के जातकों के लिए भी यह चंद्र ग्रहण अशुभफलदायी साबित होगा. कुंडली के द्वादश हॉउस में यह ग्रहण काफी कष्टप्रद हो सकता है. इन जातकों को विदेशो में परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है. इनके लिए अनेक प्रकार की मुसीबते की मुसीबते खड़ी हो सकती हैं. आपको धन लाभ और भौतिक सुख-सुविधाओं में अकस्मात लाभ हो सकता है परन्तु हानि की भी उतनी ही सम्भावना है. व्यापार करने वाले जातक विदेशो से लम्बा काम और लाभ पाने में कामयाब होंगे. स्वास्थ्य पर इस ग्रहण का गहरा प्रभाव पड़ सकता है. घर से सम्बन्धित मामले में परेशानियाँ बढ़ सकती है और चित्त बेहद उद्दिग्न और अशांत हो सकता है.
वृश्चिक राशि –
वृश्चिक राशि के लिए यह ग्रहण सबसे ज्यादा अशुभ फलदायी हो सकता है. इन जातकों का भाग्येश पर ही होगा यह ग्रहण और सबसे पाप मारक ग्रह बुध की दृष्टि में सम्पन्न होगा यह ग्रहण. इस समय बुध अपनी नीच राशि में है और ग्रहण काल में वह गंडमूल में अंतिम डिग्री स्थित रहेगा. ऐसे इन जातको के लिए भाग्य बुरी तरह प्रभावित विपरीत हो सकता है अर्थात भाग्य पर ही ग्रहण लग सकता है और इनके लिए यह ग्रहण विनाशक सिद्ध हो सकता है. इनकी इच्छाएं पूर्ण होने बाधा आ सकती है और पाप का फल प्राप्त हो सकता है. इन जातको को बड़ा झटका लग सकता है और मानसिक अवस्था गडबड हो सकती है.
कुम्भ राशि
कुम्भ राशि के जातकों के लिए चंद्र ग्रहण अशुभ फलदायी हो सकता है. अचानक धन हानि के साथं कोई गुह्लय रोग या लाइलाज रोग प्रकट हो सकता है. चन्द्रमा की दशा हो तो विकट स्थितियों से भी जूझना पड़ सकता है. इस दशा में ही दुर्घटना, जेल आदि की सम्भावना रहेगी. चित्त उद्दिग्न और अशांत रहेगा, घर के राज उजागर हो सकते हैं. परेशानियों में शांति और धैर्य बना कर रखे, गलत कदम न उठायें. इस गोचर में ग्रहण काल होने से समाजिक तिरस्कार और अपमान होने की सम्भावना है. कर्म क्षेत्र से लाभ मिल सकता है परन्तु सावधान रह कर व्यवहार करें.

